
Oswal Pumps IPO Listing: ओसवाल पंप्स के शेयर शुक्रवार, 20 जून को शेयर बाजारों में लिस्ट होने वाले हैं। कंपनी के IPO को प्राइमरी मार्केट में 34.42 गुना से ज्यादा सब्सक्राइब किया गया था, जो इस शेयर में निवेशकों की तगड़ी दिलचस्पी को दिखाता है। ओसवाल पंप्स ने साल 2003 में स्लो स्पीड वाले मोनोब्लॉक पंप बनाकर अपना बिजनेस शुरू किया था। बाद में कंपनी ने ग्रिड से जुड़े सबमर्सिबल पंप और इलेक्ट्रिक मोटर बनाने का काम भी शुरू किया और अब सौर ऊर्जा से चलने वाले पंप और मोटर भी बनाती है। आइए आपको बताते हैं Oswal Pumps IPO का लेटेस्ट GMP और इस पर एक्सपर्ट्स की क्या है राय।
कितना हो सकता है लिस्टिंग गेन?
आईपीओ बाजार के जानकारों को ओसवाल पंप्स की लिस्टिंग से अच्छा रिटर्न मिलने की उम्मीद है। हेंसेक्स सिक्योरिटीज (Hensex Securities) में रिसर्च और बिजनेस डेवलपमेंट के एवीपी महेश एम ओझा का मानना है कि शेयर ₹614 के ऊपरी प्राइस बैंड से 8-12 प्रतिशत प्रीमियम पर लिस्ट हो सकता है। वे कहते हैं कि कंपनी की सोलर पंप सेगमेंट में मजबूत पकड़, पीएम-कुसुम जैसी सरकारी योजनाओं से जुड़ाव और लगातार अच्छा प्रदर्शन लिस्टिंग प्रीमियम को सही ठहराता है।
मेहता इक्विटीज (Mehta Equities) के रिसर्च एनालिस्ट प्रशांत तापसे को 10-15 प्रतिशत के लिस्टिंग गेन की उम्मीद है। वे मानते हैं कि कंपनी के मजबूत फंडामेंटल्स, लंबी अवधि के विकास की क्षमता, आकर्षक वैल्यूएशन, कृषि, औद्योगिक और घरेलू क्षेत्रों में विविध प्रोडक्ट पोर्टफोलियो, और सरकार की बुनियादी ढांचे और ग्रामीण विकास की पहल से जुड़ाव के कारण निवेशकों ने इसमें जोरदार रुचि दिखाई है।
लिस्टिंग के बाद क्या करें निवेशक?
जिन निवेशकों को आईपीओ में शेयर मिले हैं, उनके लिए विशेषज्ञ अलग-अलग सलाह दे रहे हैं:
लंबे समय के निवेशक: महेश एम ओझा और आनंद राठी शेयर्स एंड स्टॉक ब्रोकर्स (Anand Rathi Shares and Stock Brokers) के फंडामेंटल रिसर्च हेड नरेंद्र सोलंकी दोनों ही लंबी अवधि के निवेशकों को शेयरों को बनाए रखने की सलाह दे रहे हैं। ओझा कंपनी के पैमाने, बाजार हिस्सेदारी और भारत के नवीकरणीय ऊर्जा और कृषि-बुनियादी ढांचे के लक्ष्यों के साथ जुड़ाव का हवाला देते हैं, जबकि सोलंकी ने आईपीओ को ‘लंबे समय के लिए सब्सक्राइब’ रेटिंग दी थी। प्रशांत तापसे भी आवंटित निवेशकों को लंबी अवधि के लिए शेयर रखने की सलाह देते हैं।
लिस्टिंग के तुरंत बाद मुनाफा कमाने वाले: महेश एम ओझा कहते हैं कि अगर शेयर ₹675 से ऊपर खुलता है, तो लिस्टिंग लाभ के लिए निवेश करने वाले निवेशक थोड़ी मुनाफावसूली पर विचार कर सकते हैं, लेकिन कुछ एक्सपोजर बनाए रखना संभावित री-रेटिंग की उम्मीद में फायदेमंद हो सकता है।
नए निवेशक: महेश एम ओझा नए निवेशकों को सलाह देते हैं कि वे बाजार की व्यापक अस्थिरता और शुरुआती बिकवाली के दबाव को देखते हुए लिस्टिंग के बाद कीमतों में स्थिरता का इंतजार करें। प्रशांत तापसे कहते हैं कि जिन निवेशकों को शेयर आवंटित नहीं हुए हैं, वे लिस्टिंग के बाद गिरावट आने पर निवेश करने पर विचार कर सकते हैं।
आपको बता दें कि ओसवाल पंप्स आईपीओ से मिलने वाली राशि का उपयोग पूंजीगत व्यय, सहायक कंपनी ओसवाल सोलर में नई इकाइयों के लिए निवेश, कंपनी के कर्ज का भुगतान सामान्य कॉर्पोरेट उद्देश्यों के लिए करने की योजना बना रही है।