
मारन बंधुओं की आपसी कलह अब सामने आ गई है। पूर्व केंद्रीय मंत्री और डीएमके सांसद दयानिधि मारन ने अपने बड़े भाई कलानिधि मारन को कानूनी नोटिस भेजा है। नोटिस में कलानिधि पर धोखाधड़ी और मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया गया है। अरबपति बिजनेसमैन कलानिधि मारन सन टीवी नेटवर्क वाले सन ग्रुप के फाउंडर और चेयरमैन हैं। वह कई टेलीविजन चैनल, न्यूजपेपर, वीकली मैगजीन, एफएम रेडियो स्टेशन, डीटीएच सर्विसेज, मूवी प्रोडक्शन हाउस सन पिक्चर्स और 2 क्रिकेट टीमों- IPL की सनराइजर्स हैदराबाद और दक्षिण अफ्रीका टी 20 लीग की सनराइजर्स ईस्टर्न केप के मालिक हैं।
दयानिधि मारन के कानूनी नोटिस में सन टीवी की शेयरहोल्डिंग को 2003 वाले ओरिजिनल स्ट्रक्चर में बहाल करने की मांग की गई है। इसके लिए मारन बंधुओं के दिवंगत पिता और पूर्व केंद्रीय मंत्री एसएन मारन यानि मुरासोली मारन, तमिलनाडु के पूर्व मुख्यमंत्री एम करुणानिधि की पत्नी एमके दयालु की विरासत का हवाला दिया गया है। मुरासोली मारन डीएमके पार्टी के नेता थे और एम. करुणानिधि उनके मामा थे। 10 जून 2025 की तारीख वाला यह नोटिस कलानिधि मारन और उनकी पत्नी कावेरी मारन सहित सात अन्य प्रतिवादियों (respondents) को भेजा गया है। मनीकंट्रोल ने नोटिस की एक कॉपी देखी है।
साजिश रचकर कंपनी हड़पने का लगाया आरोप
नोटिस में आरोप लगाया गया है कि कलानिधि मारन और उनकी पत्नी कावेरी मारन ने अपने फायदे के लिए पूरी कंपनी और उसकी संपत्तियों को अपने कब्जे में लेने के लिए अन्य लोगों के साथ मिलकर साजिश की। धोखाधड़ी की योजना को अंजाम देने के लिए परिवार की स्थिति का फायदा उठाया, खासकर तब जब एसएन मारन की तबीयत बहुत खराब थी, वह किसी भी समय गुजर सकते थे और पूरा परिवार उनके बिगड़ती सेहत को लेकर चिंतित था। आरोप लगाया गया कि कलानिधि मारन और उनकी पत्नी ने सितंबर 2003 में अपनी पहली अवैध गतिविधि शुरू की।
आरोप है कि 2003 में पिता मुरासोली मारन की मृत्यु के बाद, डेथ सर्टिफिकेट या कानूनी उत्तराधिकारी प्रमाण पत्र जैसे उचित कानूनी दस्तावेजों के बिना ही उनकी मां मल्लिका मारन को शेयर ट्रांसफर कर दिए गए। शेयरों का यह ट्रांसफर कथित तौर पर बाद में कलानिधि मारन को शेयर ट्रांसफर करने में मदद करने के लिए किया गया था।
कलानिधि ने यूं हथियाए शेयर
आगे आरोप लगाया गया है कि कलानिधि ने 15 सितंबर 2003 को 10 रुपये प्रति शेयर के हिसाब से खुद को 12 लाख इक्विटी शेयर अलॉट किए, जो आपराधिक विश्वासघात और धोखाधड़ी वाला काम है। यह तब हुआ, जब सन टीवी के शेयरों की वैल्यू उस वक्त 2,500 रुपये से 3,000 रुपये के बीच थी। नोटिस में आगे कहा गया, “दूसरे शब्दों में, कलानिधि ने उस वक्त के मौजूदा मेजॉरिटी/प्रमोटर ओरिजिनल शेयरहोल्डर्स से किसी भी परामर्श या मंजूरी के बिना मेसर्स सन टीवी प्राइवेट लिमिटेड के 60% शेयर 10 रुपये प्रति शेयर की फेस वैल्यू पर अलॉट किए।” उस समय कंपनी आर्थिक रूप से मजबूत थी और उसे पैसे जुटाने की जरूरत नहीं थी, इसलिए इन शेयरों को जारी करने का कोई कारण नहीं था।
इससे पहले कलानिधि के पास कोई शेयर नहीं थे, लेकिन इस कदम के बाद वह मेजॉरिटी ओनर बन गए। नोटिस के अनुसार, ओरिजिनल फैमिलीज के शेयरों को 50% से घटाकर केवल 20% कर दिया गया। कलानिधि मारन वर्तमान में लिस्टेड कंपनी सन टीवी नेटवर्क में 75 प्रतिशत हिस्सेदारी के मालिक हैं।
नोटिस में आरोप लगाया गया है, “12,00,000 इक्विटी शेयरों के अलॉटमेंट के लिए 1.2 करोड़ रुपये के कथित भुगतान और 12,00,000 इक्विटी शेयरों की वास्तविक अनुमानित वैल्यू 3500 करोड़ रुपये के बीच का अंतर, अपराध की आय के अलावा और कुछ नहीं है। आप सभी के पास 3498.8 करोड़ रुपये का वह डिफरेंशियल अमाउंट है और आप इसे बेदाग दिखाते हैं। इसलिए आप सभी लगातार मनी लॉन्ड्रिंग का काम कर रहे हैं।”
अपराध की आय से खुद को बनाया समृद्ध
इसमें आगे आरोप लगाया गया है कि कलानिधि मारन ने अपराध की इस आय का इस्तेमाल वैल्यूएबल एसेट्स/कंपनियों, जैसे सन डायरेक्ट टीवी प्राइवेट लिमिटेड, काल रेडियो प्राइवेट लिमिटेड, काल एयरवेज प्राइवेट लिमिटेड, काल पब्लिकेशन प्राइवेट लिमिटेड, सनराइजर्स हैदराबाद, साउथ एशियन एफएम, सन पिक्चर्स, दक्षिण अफ्रीका में एक क्रिकेट टीम, यूनाइटेड किंगडम में एक क्रिकेट टीम, स्पाइसजेट की खरीद और अन्य डाउनस्ट्रीम निवेशों के जरिए खुद को और समृद्ध करने के लिए किया।
आरोप लगाया गया है कि सन टीवी ने 2006 में दायर अपने रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस में अपने स्टेकहोल्डर्स को गुमराह किया। कहा गया कि सन टीवी लिमिटेड के रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस में बताया गया कि 31-12-2005 तक मां मल्लिका मारन को डिविडेंड के रूप में 10.64 करोड़ रुपये का भुगतान किया गया था। हालांकि, वर्ष 2005 में डिविडेंड के रूप में उन्हें ऐसी कोई राशि नहीं दी गई। रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस में गलत जानकारी घोषित की है और आम जनता को धोखा दिया गया है। यह भी कहा गया है कि कलानिधि ने 2023 में 5,926 करोड़ रुपये और अकेले 2024 में 455 करोड़ रुपये का अमाउंट, डिविडेंड के तौर पर हासिल किया है।
नोटिस में कहा गया है कि दयानिधि मारन गंभीर धोखाधड़ी जांच कार्यालय (SFIO) की ओर से सरकारी जांच की मांग करेंगे, क्योंकि ये काम कंपनी और आपराधिक कानूनों के तहत गंभीर अपराध हैं और इनमें मनी लॉन्ड्रिंग भी शामिल है।
कलानिधि और कावेरी कलानिधि से क्या चाहते हैं दयानिधि
नोटिस में मांग की गई है कि कलानिधि सन टीवी नेटवर्क लिमिटेड और अन्य सभी संबंधित कंपनियों की पूरी शेयरहोल्डिंग में अपनी ओरिजिनल शेयरहोल्डिंग को बिल्कुल उसी लेवल पर बहाल करें, जैसी कि 15.09.2003 को थी, शेयरों को सही मालिकों यानि एम.के. दयालु और स्वर्गीय एस.एन. मारन के कानूनी उत्तराधिकारियों को बहाल किया जाए। इसके अलावा कलानिधि और उनकी पत्नी कावेरी कलानिधि को बिना किसी देरी के, वर्ष 2003 से अब तक उनके द्वारा अवैध रूप से हासिल किए गए सभी प्रकार के मौद्रिक लाभों, डिविडेंड, संपत्ति और आय के सभी रूपों को एम.के. दयालु और स्वर्गीय एस.एन. मारन के कानूनी उत्तराधिकारियों को वापस करने का निर्देश दिया जाता है। अगर ऐसा नहीं किया जाता है, तो उनके और उनके सहयोगियों के खिलाफ सभी उचित सिविल, क्रिमिनल, रेगुलेटरी और एनफोर्संमेंट प्रोसीडिंग्स शुरू की जा सकती हैं।